Do you remember the title?

Monday, January 4, 2016

जीवन पथ-प्रदर्शक

Choosing the path

मुसलसल मसलें आते रहेंगे,
तुझे धैर्य रखना होगा।
समझ ले, तेरी किस्मत में नहीं कुछ है लिखा,
तुझे मशक्कत करना होगा।

याद रख, ये जंग-ए-ज़िन्दगी है,
जद्दोजहद तो करना ही पड़ेगा।
कामयाबी मिले न मिले,
पूरा प्रयास तो करना ही पड़ेगा।

माना कि मंज़िल ऊँची है तेरी,
तुझे सीढ़ियाँ हज़ारों चढ़ना है।
पर तक़दीर के कलम से,
तुझे इतिहास भी तो गढ़ना है।

तेरे पीछे समंदर यादों का,
आगे मुसीबतों का पहाड़।
छोड़ सारी चिंताओं को,
शेर-दिल होकर तू दहाड़।

भूल न करना ये बातें भूलने की,
वरना किसी मोड़ पर तू छूट जाएगा।
कुचलकर तुझे बढ़ जाएँगे लोग आगे,
फिर न कभी तू दुबारा उठ पाएगा।

मुसलसल मसलें आते रहेंगे,
तुझे धैर्य रखना होगा।
समझ ले, तेरी किस्मत में नहीं कुछ है लिखा,
तुझे मशक्कत करना होगा।

No comments:

Post a Comment

Creative Commons License
All poems in this blog are written by Asher Ejaz and are licensed under a Creative Commons Attribution 4.0 International License